किरोड़ी बिके, तिवाड़ी बिके, बिके सारे बिकाउ माल, न झुकेगा, न बिकेगा, हनुमान बेनीवाल!

प्रिय किसान भाइयों, मेरे प्रिय नौजवान बेरोजगार साथियों, युगों- युगों से जाति और धर्म व्यवस्था से…