मैं अकेला ही चला था जानिबे मंजिल, मगर
लोग साथ आते गए और कारवां बनता गया
राजस्थान में छबड़ा शहर के पूर्व सहवरित पार्षद रितेश शर्मा की सोशल मीडिया पर आमजन से कस्बे के एक बीमार ग़रीब के इलाज में मदद के लिए की गई अपील ऐसा रंग लाई की देखते ही देखते सिर्फ 24 घण्टे में 50 हजार रूपये इकट्ठा हो गए। रितेश शर्मा ने आमजन से अपील की थी कि छबड़ा निवासी एक गरीब मजदूर व्यक्ति कई सालों से रीढ़ की हड्डी में परेशानी होने से और बीमारी की वजह से उसके पांव लगातार कमजोर होते जा रहे हैं, इस वजह से अपने परिवार के 6 सदस्यों का पेट भी नही भर पा रहा है। यह व्यक्ति अपने परिवार समेत पुरानी अदालत के पीछे छबड़ा में अपने एक छोटे से कमरे में निवास करता है। जिसमें उसकी बीवी, 3 बच्चियां, एक दूध पीता बच्चा एवं स्वयं रहता है। जिसके इलाज के लिए और घर खर्च के लिए लोग यथासंभव आर्थिक सहायता कर रहे हैं। आप सब भी उसकी सहायता के लिए इच्छानुसार राशि दान कर सकते हैं। उनकी अपील का लोगों पर ऐसा असर हुआ कि जैसे जैसे लोगों को पता चलता गया लोग मदद के लिए आगे आते गए और देखते ही देखते बीमार नवल शर्मा की सारी परेशानी दूर हो गई। मदद के लिए आगे आए लोगों में ज्ञान भारती स्कूल संचालक दीपक भार्गव ने छोटी पुत्री को 10वीं तक निशुल्क शिक्षा का आश्वासन दिया, लायन्स क्लब के पूर्व अध्यक्ष हितेंद्र सोनी ने बीए में पढ़ रही बड़ी पुत्री के पढ़ाई का खर्च उठाने की जिम्मेदारी ले ली, वेदांत कोचिंग के डायरेक्टर गिर्राज गुर्जर ने 12वीं तक निशुल्क कोचिंग, नागेश्वर किराना स्टोर द्वारा गैस कनेक्शन, अभिषेक पाटनी द्वारा बच्चों की पढ़ाई के लिए स्टेशनरी देने का वादा किया। आर्थिक सहयोग देने वालों में जयप्रकाश मित्तल कवाई, मोनू शर्मा सरपंच, कपिल तिवारी, मनीष नामदेव, गोविंद नामदेव, नितिन अग्रवाल, पवन सोलंकी, नरेंद्र प्रजापति लकी, मनु अरोड़ा, गोविंद धनओरिया, अमित गालव, निरंजन शर्मा भोला, राजू जी शर्मा , सुरेश पारेता, मुकेश शर्मा एडवोकेट, काशिफ भाई, अवधेश शर्मा एडवोकेट,रोहित अरोड़ा, बनवारी मेहता, आसिफ असाड़ी,गणेश भार्गव, उमर भाई गोड़िया, खालिद राणा आदि सभी जाति धर्मों के लोग आगे आए। आज नवल के परिवार के लिए रितेश शर्मा किसी फरिश्ते से कम नहीं है।
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