डिजिटल साक्षरता की ओर बढ़ते कदम
वैश्विक महामारी कोविड-19 की वजह से लॉक डाउन के दौरान प्रथम इन्फोटेक फाउंडेशन NGO ने 3-50 आयु वर्ग के लिए फ्री ऑनलाइन लर्निंग के ज़रिये सीखने के द्वार खोल दिए है.
संस्था पिछले 15 वर्षो से ई-शिक्षा (डिजिटल लर्निंग) के क्षेत्र में कार्यरत है और हर साल देश भर के 2 लाख से अधिक वंचित वर्ग के विद्यार्थियों और युवाओं को डिजिटल शिक्षा प्रदान कर रही है।
NGO दे रहा है फ़्री ट्रेनिंग घर बैठे
फाउंडेशन ने “देखो, सीखो और आगे बढ़ो” अभियान की शुरुआत करते हुए अन्य संस्थाओं के साथ मिलकर 10 लाख लोगों को डिजिटल साक्षर करने का लक्ष्य रखा है।
जिनमें अभिभावक माताएं, स्टूडेंट्स, और युवाओं को ट्रेंनिंग दी जाएगी है। इस अभियान में कोई भी संस्था या व्यक्ति जुड़कर खास तौर से वंचित वर्ग के लोगों को लाभान्वित कर सकता है ।
फाउंडेशन की टीम ने मई माह में 60,000 लोगों को घर बैठे डिजिटल साक्षर बनाया है।
संस्था के राज्य समन्वयक मोहम्मद शहजाद ने बताया की संस्था में कार्यरत और वालंटियर्स की मदद से एक व्यक्ति द्वारा 30 लोगों का एक बैच बनाया जाता है। जिसमें अभिभावक, माताएं, स्टूडेंट्स, और युवा शामिल होते है ।
सभी को लगातार 6 दिन तक कोर्सेज के लिंक whatsapp के ज़रिये प्रत्येक स्टूडेंट्स को भेजे जाते है। विद्यार्थी सिर्फ 10-15 मिनट में वीडियो के ज़रिये काफ़ी कुछ सीख जाता है । 6 दिन के कोर्स के बाद इच्छुक विद्यार्थी ऑनलाइन परीक्षा देकर कोर्स सर्टिफिकेट भी हासिल कर सकते है ।
फ्री डिजिटल साक्षर लर्निंग एप्प में 100 से अधिक कोर्सेज और 5000 से अधिक विडियो उपलब्ध है जिनमें Academic, Employability skills, कंप्यूटर शिक्षा, डिजाइनिंग सॉफ्टवेर, कंप्यूटर कोडिंग, एनीमेशन स्किल कंटेंट आदि शामिल है ।
फ्री Digital Sakshar एप्प को एंड्राइड और एप्पल के app स्टोर से डाउनलोड किया जा सकता है और www.digitalsakshar.com पर विजिट करके फ्री कोर्सेज़ कर सकते हैं ।
प्रथम राजस्थान के मैनेजिंग ट्रस्टी कुलभूषण कोठारी का मानना है कि डिजिटल साक्षर एप्प डिजिटल खाई को पाटने, शिक्षा के क्षेत्र में इनफार्मेशन टेक्नोलॉजी को अपनाने और नई अर्थव्यवस्था की मांग के अनुसार 21वीं सदी के कुशल युवाओं को तैयार करने में मददगार साबित होगी ।
प्रथम इन्फोटेक फाउंडेशन के CEO प्रेम चंद यादव का कहना है कि “हमारी कोशिश है कि डिजिटल शिक्षा से ज़िंदगियाँ बदले, covid-19 महामारी का विद्यार्थियों, युवाओं या किसी पर भी कम से कम प्रभाव पड़े, ऐसे में डिजिटल साक्षर एप्प बेहद मददगार साबित हो सकता है”