लॉकडाउन में देश के अलग-अलग कोने में फंसे मजदूरों की घर वापसी पर कोरोना कालखंड में जमकर सियासत हो रही है. एक तरफ जहां भारतीय रेलवे ने मजदूरों के लिए श्रमिक ट्रेन चलाने का ऐलान किया वहीं दूसरी तरफ उनसे किराया भी वसूला जा रहा है।
इसी घटनाक्रम में नया मोड़ तब आया जब सोमवार कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने सभी मजदूरों के ट्रेन और बस से आने-जाने का खर्च राज्यों की प्रदेश कांग्रेस कमेटियों को उठाने का निर्देश दिया था, जिसके बाद बीजेपी की तरफ से भी रेलवे किराया सरकार देगी जैसे ऐलान हुए लेकिन कोई आधिकारिक घोषणा नहीं हुई है।
इसी बीच राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने घोषणा की है कि राजस्थान में फंसे मजदूरों को घर भेजने में रेल व बस किराए का खर्च राज्य सरकार उठाएगी। प्रवासी श्रमिकों के टिकट का पूरा खर्च रेलवे को राज्य सरकार देगी।
वहीं राजस्थान रोडवेज की जिन बसों में राज्य के अंदर जिन लोगों को लाया और ले जाया जाएगा उनसे भी किराया नहीं लिया जाएगा। मालूम हो कि गहलोत ने यह ऐलान सोनिया गांधी के निर्देश के बाद किया है।
सीएम गहलोत ने किया ट्वीट
कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती #SoniaGandhi जी के निर्देश पर हमने फैसला किया है कि #Rajasthan से अन्य राज्यों में भेजे जाने वाले प्रवासी श्रमिकों के किराये का भुगतान रेलवे को राज्य सरकार करेगी।#COVID19Pandemic #राजस्थान_सतर्क_है
— Ashok Gehlot (@ashokgehlot51) May 4, 2020
सीएम गहलोत ने सोनिया गांधी के आदेश के बाद कलेक्टर्स और एसपी के साथ एक त्वरित मीटिंग बुलाई जिसके बाद ट्वीट के जरिए इसकी घोषणा की।
लाखों मजदूरों बिना खर्च के पहुंचेंगे घर
सरकार के इस फैसले से लाखों मजदूरों बिना किसी परेशानी के घर जा सकेंगे। राज्य की ओर से दी जा रही ऑनलाइन सुविधा में अब तक 15 लाख मजदूरों ने घर वापस जाने के लिए रजिस्ट्रेशन करवा लिया है।